उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की नजर सभी विभागों पर है जो भी अधिकारी अपने काम में लापरवाही भरता है उसके लिए योगी सरकार तुरंत एक्शन लेती है इसी तरह सरकारी काम में उदासीनता और अनियमितता के आरोपों में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बहराइच और वाराणसी के उपायुक्त (स्वतः रोजगार) को निलंबित करने का आदेश दिया है. दोनों ही अधिकारियों के खिलाफ अब विभागीय जांच भी होगी।
मुख्यमंत्री श्री @myogiadityanath जी ने अनियमित ढंग से शासकीय धन का भुगतान करने के आरोप में विकास खंड अहिरोरी, जनपद हारदोई के तत्कालीन खंड विकास अधिकारी (संप्रति, उपायुक्त, स्वतः रोजगार, बहराइच) को निलंबित करने का आदेश दिया है।@spgoyal@sanjaychapps1@74_alok pic.twitter.com/5OFnfXgQmI
— CM Office, GoUP (@CMOfficeUP) November 4, 2020
मुख्यमंत्री कार्यालय ने बुधवार को ट्वीट कर यह जानकारी दी.सुरेश चन्द्र केसरवानी, उपायुक्त (स्वतः रोजगार), वाराणसी पर राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के कार्यों में शिथिलता बरतने का आरोप हैं. केसरवानी के खिलाफ अपने अधीनस्थ कर्मचारियों के साथ अशोभनीय भाषा का प्रयोग और उन्हें धमकाने की शिकायत भी मिली है।
बीते दिनों मुख्य विकास अधिकारी, वाराणसी ने इनके कार्यालय का निरीक्षण किया था, जहां पत्रावलियों के निस्तारण तथा वित्तीय अनियमितता सम्बन्धी शिकायतें सामने आई थीं. वर्तमान में उपायुक्त (स्वतः रोजगार) के पद पर बहराइच में तैनात सुरेन्द्र कुमार गुप्ता पर आरोप है कि हरदोई के ब्लॉक अहिरोरी में खंड विकास अधिकारी रहते हुए ग्राम खाड़ाखेड़ा के आंगनबाड़ी केन्द्र के स्थलीय विवाद होने के स्थिति में न तो कोई कार्य कराया और न ही किसी फर्म से किसी भी निर्माण सामग्री की आपूर्ति ली. यही नहीं कोई मापाकंन भी नहीं कराया गया. बावजूद इसके भुगतान की कार्यवाही की गई।
आरोप है कि इस तरह सुरेंद्र कुमार गुप्ता ने न केवल प्रक्रियात्मक त्रुटि की, बल्कि शासकीय धन का अनियमित तरीके से भुगतान करने की गड़बड़ी भी की. मुख्यमंत्री ने इसे घोर अनुशासनहीनता, लापरवाही और स्वेच्छाचारिता माना है. योगी जी कहते हैं कोई भी प्रकार की अनुशासनहीनता काम में लापरवाही सरकार कतई बर्दाश्त नहीं करेगी तुरंत कार्रवाई व विभागीय जांच होगी उचित दंड दिया जाएगा