सोशल मीडिया पर हजारों लाखों मैसेज दिन भर में वायरल होते रहते हैं जो जाने और अनजाने में यूजर्स के द्वारा एक दूसरे को शेयर भी किए जाते हैं। लेकिन इन सब के पीछे ऐसे बहुत से काम ही लोग है जो उन मैसेज के बारे में सही या गलत होने की बात को सोचते हैं।
अमूमन सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे मैसेजेस को अधिकतर लोग खुद के हिसाब से सही और गलत मानकर एक दूसरे को शेयर करते हैं। भले ही वायरल हो रहे मैसेज के पीछे का यथार्थ कुछ भी हो।
ऐसा ही एक मैसेज सोशल मीडिया पर महिलाओं को लेकर पिछले 3 वर्षों से भी अधिक समय से वायरल हो रहा है। एनपीआर मीडिया वायरल हो रहे मैसेज की कहानी का समर्थन नहीं करता।
इस वायरल मैसेज को हजारों यूजर्स के द्वारा अलग-अलग फोटो के साथ बखूबी शेयर किया गया है। न्यूज़ पी आर मीडिया को यह मैसेज सोशल मीडिया से ही मिला है। जिसका शीर्षक है कौनसापति_खरीदूँ…
आइए जानते है क्या है वायरल मैसेज..
शहर के बाज़ार में एक बड़ी दुकान खुली जिस पर लिखा था – “यहाँ आप पतियों को ख़रीद सकती है |” देखते ही देखते औरतों का एक हुजूम वहां जमा होने लगा। सभी दुकान में दाख़िल होने के लिए बेचैन थी, लंबी क़तारें लग गयी। दुकान के मैन गेट पर लिखा था –
“पति ख़रीदने के लिए निम्न शर्ते लागू”
✡ इस दुकान में कोई भी औरत सिर्फ एक बार ही दाख़िल हो सकती है, आधार कार्ड लाना आवश्यक है …
✡ दुकान की 6 मंज़िले है, और प्रत्येक मंजिल पर पतियों के प्रकार के बारे में लिखा है….
✡ ख़रीदार औरत किसी भी मंजिल से अपना पति चुन सकती है….
✡ लेकिन एक बार ऊपर जाने के बाद दोबारा नीचे नहीं आ सकती, सिवाय बाहर जाने के……..
एक खुबसूरत लड़की को दुकान में दाख़िल होने का मौक़ा मिला…पहली मंजिल के दरवाज़े पर लिखा था – “इस मंजिल के पति अच्छे रोज़गार वाले है और नेक है।”
लड़की आगे बढ़ी ..
दूसरी मंजिल पर लिखा था – “इस मंजिल के पति अच्छे रोज़गार वाले है, नेक है और बच्चों को पसंद करते है।
”लड़की फिर आगे बढ़ी …
तीसरी मंजिल के दरवाजे पर लिखा था – “इस मंजिल के पति अच्छे रोज़गार वाले है, नेक है और ख़ूबसूरत भी है।”यह पढ़कर लड़की कुछ देर के लिए रुक गयी मगर यह सोचकर कि चलो ऊपर की मंजिल पर भी जाकर देखते है,
वह आगे बढ़ी…
चौथी मंजिल के दरवाज़े पर लिखा था – “इस मंजिल के पति अच्छे रोज़गार वाले है, नेक है, खूबसूरत भी है और घर के कामों में मदद भी करते है.”
यह पढ़कर लड़की को चक्कर आने लगे और सोचने लगी ।“क्या ऐसे पति अब भी इस दुनिया में होते है ?
यहीं से एक पति ख़रीद लेती हूँ…लेकिन दिल ना माना तो एक और मंजिल ऊपर चली गयी…
पांचवीं मंजिल पर लिखा था – “इस मंजिल के पति अच्छे रोज़गार वाले है , नेक है और खुबसूरत है , घर के कामों में मदद करते है और अपनी बीबियों से प्यार करते है।”
अब इसकी अक़ल जवाब देने लगी वो सोचने लगी इससे बेहतर और भला क्या हो सकता है ? मगर फिर भी उसका दिल नहीं माना और आखिरी मंजिल की तरफ क़दम बढाने लगी…
आखिरी मंजिल के दरवाज़े पर लिखा था – “आप इस मंजिल पर आने वाली 3339 वीं औरत है , इस मंजिल पर कोई भी पति नहीं है , ये मंजिल सिर्फ इसलिए बनाई गयी है ताकि इस बात का सबूत सुप्रीम कोर्ट को दिया जा सके कि महिलाओं को पूर्णत संतुष्ट करना नामुमकिन है।
हमारे स्टोर पर आने का धन्यवाद ! बांयी ओर 8 सीढियाँ है जो बाहर की तरफ जाती है !!
सांराश – आज समाज की सभी कन्याओं और वर पक्ष के माता पिता यह सब कर रहे है एवं ‘अच्छा’ और “अच्छा” … के चक्कर में शादी की सही उम्र तो खत्म ही हो रही है।
वायरल हो रहे इस मैसेज का सार मैसेज के शीर्षक के साथ सटीक नहीं बैठता और सामाजिक परिप्रेक्ष्य में अभिभावकों के द्वारा अपने बच्चों की शादी में जानबूझकर लेटलतीफी नहीं की जाती और ना ही जिस तरह से महिलाओं की आकांक्षाओं और आशाओं को जितना बढ़ा चढ़ा कर लिखा गया है असल जीवन में ऐसा होता है।
अगर वायरल हो रहे मैसेज के मात्र शीर्षक में पति के स्थान पर पत्नी को लिख दिया जाए तो क्या पुरुषत्य वादी सोच इस मैसेज पर वैसे ही कमेंट और शेयर करेगी यह सोचनीय विषय है।
मात्र महिलाओं पर व्यंग कसने की खातिर इस मैसेज को नहीं सराहा जा सकता। इसलिए न्यूज़ पी आर मीडिया इस तरह के के वायरल मैसेज को शेयर न करने की अपील करता है।